लखनऊ, 20 दिसम्बर 2025। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 01 जनवरी से 31 जनवरी, 2026 तक प्रदेशव्यापी ‘सड़क सुरक्षा माह’ आयोजित करने के निर्देश देते हुए कहा कि नए वर्ष की शुरुआत सड़क सुरक्षा जैसे अत्यंत संवेदनशील विषय पर ठोस संकल्प, व्यापक जनभागीदारी और व्यवहार परिवर्तन के लक्ष्य के साथ होनी चाहिए। यह अभियान किसी भी स्थिति में औपचारिकता बनकर न रह जाए, बल्कि प्रत्येक नागरिक के जीवन से जुड़ा जन आंदोलन बने।
मुख्यमंत्री ने अपने सरकारी आवास पर आयोजित उच्चस्तरीय बैठक में अभियान की समीक्षा की। बैठक में परिवहन राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) दयाशंकर सिंह, शासन स्तर के वरिष्ठ अधिकारी तथा जनपदों के अधिकारी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जुड़े रहे। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि सड़क सुरक्षा माह को 4-ई मॉडल—एजुकेशन, एन्फोर्समेंट, इंजीनियरिंग और इमरजेंसी केयर—के आधार पर संतुलित और समन्वित ढंग से संचालित किया जाए।
उन्होंने कहा कि केवल नियम बताना पर्याप्त नहीं है; लोगों को यह समझाना जरूरी है कि यातायात नियमों का पालन उनके अपने जीवन, परिवार और समाज की सुरक्षा से सीधे जुड़ा है। शिक्षा के माध्यम से सही सड़क व्यवहार विकसित हो, प्रवर्तन में नियमों का सख्ती से पालन हो, इंजीनियरिंग के तहत ब्लैक स्पॉट और क्रिटिकल प्वाइंट सुधारे जाएं तथा इमरजेंसी केयर में त्वरित एम्बुलेंस और बेहतर ट्रॉमा सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएं।
बैठक में प्रस्तुत आंकड़ों के अनुसार वर्ष 2025 में नवंबर तक प्रदेश में 46,223 सड़क दुर्घटनाएं दर्ज हुईं, जिनमें 24,776 लोगों की मृत्यु हुई। मुख्यमंत्री ने इन्हें अत्यंत गंभीर बताते हुए कहा कि सड़क दुर्घटनाएं केवल प्रशासनिक समस्या नहीं, बल्कि बड़ी सामाजिक चुनौती हैं। उन्होंने जनवरी के पहले सप्ताह में व्यापक जागरूकता, सभी तहसील-ब्लॉक-जिलों में प्रचार सामग्री, पब्लिक एड्रेस सिस्टम के प्रभावी उपयोग और वास्तविक दुर्घटना उदाहरणों के माध्यम से जनजागरूकता पर जोर दिया।
मुख्यमंत्री ने आदतन नियम उल्लंघन करने वालों पर कठोर कार्रवाई, ड्राइविंग लाइसेंस जब्ती व वाहन सीज की स्पष्ट नियमावली लागू करने, ब्लैक स्पॉट के स्थायी सुधार, केवल टेबल-टॉप स्पीड ब्रेकर, नियमित रोड सेफ्टी ऑडिट, एम्बुलेंस व स्कूल वाहनों की फिटनेस जांच, 300 किमी से अधिक दूरी के बड़े वाहनों में दो चालकों की अनिवार्यता, ओवरस्पीडिंग रोकने, लेन ड्राइविंग जागरूकता, एक्सप्रेस-वे पर पेट्रोलिंग व क्रेन बढ़ाने के निर्देश दिए। साथ ही गोल्डन आवर में उपचार सुनिश्चित करने, निजी ट्रॉमा अस्पतालों को नेटवर्क से जोड़ने, अवैध पार्किंग, डग्गामार वाहनों, स्टंटबाजी और सड़क किनारे अतिक्रमण पर सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए।

